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Significance of Mauni Amavasya - मौनी अमावस्या का महत्व - Mauni Amavasya date and importance
Significance of Mauni Amavasya - मौनी अमावस्या का महत्व - Mauni Amavasya Date and Importance
हिंदू धर्म में माघ मास का खास महत्व है. माघ का पवित्र महीना शुरू हो चुका है. माघ मास के कृष्ण पक्ष की अमावस्या मौनी अमावस्या कहलाती है. इस बार 1 फरवरी को होगा। यह सबसे प्रमुख स्नान पर्व है.
What is Mauni Amavasya - क्या है मौनी अमावस्या
माघ मास की अमावस्या को मौनी अमावस्या कहा जाता हैं। मौनी अमावस्या 1 फरवरी को है। मान्यताओं के अनुसार इस दिन पवित्र संगम में देवताओं का निवास होता है इसलिए इस दिन गंगा स्नान का विशेष महत्व है। मौनी अमावस्या के दिन भगवान मनु का जन्म हुआ था। इस दिन पवित्र जलाशय, नदियों में स्नान व पितरों का तर्पण करने से पितरों कों शांति मिलती है व कई गुना पुण्य मिलता है।
मौनी अमावस्या के दिन क्या करें : जिस व्यक्ति का बुध ग्रह अशुभ फल दे रहा है, ऐसा व्यक्ति मौनी अमावस्या के दिन मौन व्रत रहकर तुलसी के पौधे का पूजन करें व सुबह तुलसी पत्तियों का सेवन करें। वहीं किन्नरों को हरी चूड़ियां व हरे रंग की साड़ी का दान करने से बुध ग्रह शुभ फल देगा। जिन लोगों का चंद्र ग्रह अशुभ फल दे रहा है, वह लोग मौनी अमावस्या के दिन मौन व्रत रखें।
मौनी अमावस्या: क्या न करे. अमावस्या के दिन काल विशेष रूप से प्रभावी रहता है इस दिन चांद पूरी तरह अस्त रहता है। चंद्रमा जो की जीवन का पूर्ण कारक है इसीलिए इस दिन मदिरा पान, मांस आदि से बचना चाहिए। यात्रा में विशेष सावधानी बरतनी चाहिए। कहा जाता है कि इस दिन भगवान शिव की आराधना करना चाहिए।
Significance of Mauni Amavasya - मौनी अमावस्या का महत्व
मौनी अमावस्या के दिन मौन रहने का भी महत्व है, मौनी अमावस्या के दिन स्नान करने के पश्चात् भगवान विष्णु की पूजा की जाती है, हिंदु धर्म के अनुसार सागर मंथन के समय अमृत कलश निकलने पर देव और दानवों के बीच अमृत कलश केे लिये खींचातानी हुई ऐसे में अमृत कलश से अमृत की कुछ बूंदे इलाहाबाद हरिद्वार नासिक और उज्जैन के जल मेंं जा गिरींं, जिससे उनका जल अमृत के समान हो गया अगर इस तिथि को सोमवार होता है तो इसका महत्व और भी बढ जाता है और यदि समय महाकुंभ का हो तो फिर महत्व कई गुना बढ़ जाता है। पूरे माघ मास को स्नान मास भी कहा जाता है, इनमें सबसे अधिक महत्वपूर्ण स्नान पर्व अमावस्या का होता है। मौनी अमावस्या के दिन क्रोध न करें, किसी को अपशब्दों ना बोलें। श्रद्धापूर्वक दान करें, गौ की सेवा करें।
Mauni Amavasya 2022 Date in India: कब है मौनी अमावस्या 2022
हिंदू पंचांग के अनुसार माघ माह के कृष्ण पक्ष की अमावस्या तिथि को मौनी अमावस्या (Mauni Amavasya 2022 Date) कहा जाता है. मौनी अमावस्या तिथि 31 जनवरी, सोमवार को दोपहर 02:18 मिनट से शुरू जाएगी. इसका समापन 1 फरवरी 2022, मंगलवार को दोपहर 11:15 पर होगा. लेकिन सूर्य उदया तिथि 1 फरवरी को होने से 1 फरवरी को ही स्नान व दान का योग बन रहा है.
Mauni Amavasya 2022: बन रहा है विशेष योग
मंगलवार को अमावस्या तिथि के दिन महोदय नामक शुभ योग भी बन रहा है, जिसके कारण इस दिन का महत्व बढ़ रहा है। मंगलवार की रात को पंचक लग रहे हैं। स्नान व दान आदि की प्रक्रिया मंगलवार यानी 1 फरवरी को जाएगी।
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Published: फरवरी 01, 2022 12:03 PM IST | Updated: फरवरी 01, 2022 12:03 PM IST
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